सुबह-सुबह बारिश के मौसम के बीच जैसे ही आसमान कुछ समय के लिए साफ हुआ और धूप निकली तो धूप में तालाब का झिलमिल करता पानी और उसमें अठखेलिया करती लहरों का दृश्य देखकर मन को सुकून मिला होगा, क्योंकि गत माह पहले ही झील में बनाए गए एलिवेटेड कॉरिडोर के एक ओर पानी में जलकुंभी के कारण तालाब का पानी भी देखने में दिक्कत होती थी लेकिन अब जलकुंभी लगभग साफ हो गई है ।
जिसके कारण पूरी झील का पानी स्वच्छ दिखने लगा है , परंतु इसको साफ-सुथरा बनाने के लिए नगर निगम आयुक्त राजकुमार खत्री के द्वारा तालाब से जलकुंभी की सफाई के लिए प्रारंभ किया गया अभियान और उसकी लगातार मॉनिटरिंग ही है, जिसके परिणाम स्वरूप वर्तमान में तालाब का पानी साफ दिखने लगा है।
आज से तीन-चार माह पहले देखा जाए तो सागर झील का पानी स्पष्ट दिखाई नहीं देता था, क्योंकि जलकुंभी ने पूरे तालाब के पानी को अपने आगोश में ले लिया था लेकिन झील के सौंदर्यीकरण के लिए निगम आयुक्त द्वारा प्राथमिकता के आधार पर जलकुंभी को साफ कराने के प्रयास शुरू किए गए और उनकी लगातार स्थल पर जाकर मॉनिटरिंग की गई जिसके परिणामस्वरूप पहले झील में बने एलिवेटेड कॉरिडोर के एक ओर बड़े भाग के पानी से जलकुंभी को निकलवाया गया, उसके पश्चात झील के दूसरी ओर के पानी से जलकुंभी को निकलवाने का काम शुरू किया गया जो लगभग पूरा हो गया है । जलकुंभी एक ऐसी वनस्पति होती है जो कुछ दिन बाद पुनः अपना रूप लेने लगती है जिसको देखते हुए नगर निगम आयुक्त द्वारा संबंधित अधिकारियों को निर्देश दिए गए हैं कि लगातार झील का निरीक्षण करें और जलकुंभी दिखने पर उसे तुरंत निकाला जाए, ताकि पुनः जलकुंभी न फैल सके और तालाब का पानी देखने में निर्मल और सुंदर दिखे।