नर्मदा संरक्षण अभियान 11जून से.

पवित्र नदी मां नर्मदा के शुद्धिकरण एवं उचित संरक्षण की मांग को लेकर पोस्टकार्ड हस्ताक्षर अभियान 11 जून से चलाया जाएगा.


4000 किलोमीटर की नर्मदा परिक्रमा पूर्ण कर अपने गृहनगर लौटे मकरोनिया राम दरबार के महंत गृहस्थ संत केशव गिरी महाराज के सानिध्य में यह अभियान चलाया जाएगा.


इस संबंध में मकरोनिया में जल्द ही एक बैठक का आयोजन किया जा रहा है, जिसमें एक समिति बनाकर इस मिशन को पूरे प्रदेश में उच्च स्तर पर चलाया जाएगा. साथ ही अभियान में अधिक से अधिक युवाओं को जोड़ा जाएगा.

पं. केशव गिरी महाराज ने बताया कि जबलपुर में संत समर्थ दादा गुरु करीब 1300 दिनों से नर्मदा जल पर जीवन निर्वाह कर रहे हैं. इस भौतिकवादी युग में एक बड़ा आश्चर्य है कि बिना अन्न-फल आहार के सिर्फ मां नर्मदा जल के आधार पर करीब तीन वर्षों से वे पूर्ण स्वस्थ हैं. यह मां नर्मदा की महिमा का प्रभाव है. हम दादा गुरु की इस नर्मदा संरक्षण की मांग का पुरजोर समर्थन करते हैं. मां नर्मदा मध्य प्रदेश की जीवनदायिनी नदी है. कुछ दिन पूर्व हमने मां नर्मदा जल एवं नदी संरक्षण अभियान के तहत नर्मदा के शुद्धिकरण एवं पर्यावरण संरक्षण के लिए सभी साथियों सहित गृहस्थ संत दद्दा जी के परम आशीर्वाद से करीब 4000 किलोमीटर की नर्मदा परिक्रमा में प्रवास के दौरान जगह-जगह नदी एवं जल संरक्षण के लिए समाज में जन जागरण कर समाज में संदेश प्रदान करने की कोशिश की थी. नर्मदा का संरक्षण उचित हो इसका रेत उद्योग के रूप में उपयोग करना कतई ठीक नहीं है, क्योंकि नदी नहीं तो सदी नहीं, जल है तो कल है. मध्य प्रदेश सरकार एवं भारत सरकार से इस दिशा में शीघ्र ही कार्रवाई की अपील करते हैं. मां नर्मदा संरक्षण के लिए बरमान घाट पर आश्रम बनाने को लेकर योजना पर भी चर्चा करेंगे.

महंत जी ने बताया कि हम सब मां नर्मदा के भक्त सागर जिले में जन जागरण अभियान के लिए सांकेतिक उपवास करेंगे. साथ ही साथ नर्मदा जल संरक्षण अभियान के तहत हस्ताक्षर अभियान भी बहुत जल्द प्रारंभ किया जाएगा. इसमें कई सैकड़ों हजारों की तादाद में जन समुदाय की मौजूदगी में मां नर्मदा बचाओ आंदोलन प्रारंभ होगा. समिति के गठन के बाद मां नर्मदा जल संरक्षण व स्वच्छता के लिए लोगों को जागरूक करने के उद्देश्य से बरमान तट पर मां नर्मदा के घाट पर प्रत्येक माह सफाई अभियान चलाया जाएगा. साथ ही संत द्वारा पार्थिव शिवलिंग निर्माण व मां नर्मदा की कथा सुनाई जाएगी. बरमान घाट पर सागर के मां नर्मदा भक्त मंडल द्वारा नर्मदा परिक्रमावासी को भोजन इत्यादि की व्यवस्था की जाएगी.