स्वदेशी जागरण मंच और स्वावलंबी भारत अभियान के द्वारा आयोजित प्रांतीय विचार वर्ग महाकौशल प्रांत का तीन दिवसीय आयोजन सागर में संपन्न हुआ।
इस आयोजन का उद्देश्य देश में स्वावलंबी भारत अभियान एवं स्वदेशी मेला के आयाम से युवाओं में स्वरोजगार का भाव जगाना है।
तीन दिवसीय आयोजन में राष्ट्र निर्माण, आत्मनिर्भरता और स्वदेशी चेतना पर हुआ व्यापक मंथन हुआ। इस प्रकार का कार्य महाकौशल प्रांत के 24 जिलों में चल रहा है। विचार वर्ग में महाकौशल प्रांत के 21 जिलों से कार्यकर्ताओं की उपस्थिति रही जिसमें अमरकंटक विश्वविद्यालय से विद्यार्थी सहित 184 बंधुवर एवं भगिनी की उपस्थिति रही।
इस अवसर पर अखिल भारतीय संगठन मंत्री कश्मीरी लाल जी ने कहा कि भारत की आत्मा स्वदेशी में बसती है। जब तक हम अपनी जड़ों से नहीं जुड़ेंगे, तब तक आत्मनिर्भरता केवल एक नारा ही बनी रहेगी।
क्षेत्र संयोजक सुधीर दाते ने बताया कि स्वावलंबी भारत केवल सरकार की नीतियों से नहीं बनेगा, इसके लिए समाज के प्रत्येक व्यक्ति को अपनी भूमिका निभानी होगी।क्षेत्रीय संगठक केशव जी ने स्थानीय स्तर पर लघु उद्योग, कुटीर उद्योग और कृषि आधारित नवाचारों को बढ़ावा देने की आवश्यकता पर बल दिया।
प्रांत समन्वयक कपिल मलैया ने बताया कि इस वर्ग में प्रान्त के नवाचार भी प्रस्तुत किये गए।
सागर जिले के युवा गुटों ने स्वावलंबन की प्रस्तुति दी। अमरकंटक विश्वविद्यालय के युवाओं ने अपने स्वदेशी स्वावलंबी के अनुभव साझा किये ।
प्रांत संयोजक आलोक चौहान ने सागर जिला टोली को अच्छे आयोजन के लिए बधाई दी ।
कार्यक्रम में मध्यप्रदेश मेला प्रमुख रमनवीर सिंह अरोरा, प्रांत पूर्ण कालिक प्रजातंत्र गंगेले, डॉ. सोनल राय, प्रतिभा चतुर्वेदी ने भी अपने विचार रखे।

